कोरबा (आई.बी.एन -24)आरोपियों को मिल रहा है हरदी बाजार थाना प्रभारी और पुलिस स्टाफ का संरक्षण, वर्षों से रिपोर्ट दर्ज नहीं की जा रही, आरोपी खुलेआम घूम रहे.. पीड़ित महिला न्याय के लिए दर-दर भटक रही।
लगातार तीन-चार वर्षो से महिला और महिला के पति के साथ कर रहे ताबड़ तोड़ मारपीट। भारत के हर नागरिक, व्यक्ति को जीवन यापन करने का स्वतंत्र रूप से इस देश में अधिकार है। परंतु कुछ सामाजिक तत्व के लोगों तथा समाज में रहकर कुछ व्यक्तियों के द्वारा अराजकता फैलाई जाती रही है। जिससे समाज में गलत संदेश, प्रचार प्रसार कर किसी पीड़ित व्यक्ति को टोनी कहकर संबोधित करना अपराध की श्रेणी में है। देश की आजादी से पहले और आजादी के बाद धर्म के नाम पर नकाबपोश नेताओं, असामाजिक तत्वों, अन्य के द्वारा राजनीति कर लोगों में एक दूसरे के प्रति भेदभाव जाति धर्म के लड़ाई झगड़े करवाने को लेकर हमेशा तत्पर रहते हैं। किसी भी नागरिक व्यक्ति को गाली गलौज उल्टा सीधा शब्दों का प्रयोग अन्यथा प्रताड़ित करने का अधिकार नहीं है, परंतु जिला कोरबा के हरदी बाजार क्षेत्र के स्थाई निवासी श्रीमती तुलसी बाई उम्र 40 वर्ष, पति श्री राजकुमार रजक, ग्राम कोरबी, अमलीपारा, थाना हरदी बाजार में निवासरत है। महिला कक्षा आठवीं तक पढ़ी हुई है और वह गृहस्थी संभाल रही है तथा हाउसवाइफ है।
आपको बता देते हैं कि गांव के ही कुछ सामाजिक तत्व के लोग शिवकुमार राठौर, मंदाकिनी, धनीराम वोट बाई अन्य व्यक्तियों के द्वारा जो कि पड़ोसी अन्यथा गांव में ही निवास रहता है जो कि पीड़ित तुलसी बाई को वर्षों से अश्लील गाली गलौज मारपीट जान से मारने की धमकी देते हुए लगातार ताबड़तोड़ मारपीट कर अपराधी खुले आम बेखौफ घूम रहे हैं। पीड़ित महिला और महिला के पति के द्वारा बार-बार थाने जाने के बावजूद इनका फिर दर्ज नहीं की जाती है। दूसरी और अपराधियों के द्वारा संबंधित व्यक्ति को मारपीट भी की जाती है इसी प्रकार अपराधियों के द्वारा थाने पर पहले पहुंचकर रिपोर्ट भी दर्ज करवा ली जाती है, और हरदी बाजार पुलिस अपराधियों का रिपोर्ट दर्ज कर पीड़ित व्यक्तियों को झूठे इल्जामों में फंसा कर जेल भी भेजो देती है यह बार-बार का खेल हरदी बाजार थाना प्रभारी के द्वारा किया जा रहा है। निष्पक्ष रूप से मामले का जांच नहीं करते हुए संबंधित पीड़ित के ऊपर ही उल्टा सीधा आरोप लगाकर थाने से भगा दिया जाता है अन्यथा जेल भिजवा दिया जाता है। पीड़ित पति पत्नी का कानून से भरोसा उठ चुका है फिर भी कहीं ना कहीं एक आखरी आस लिए प्रशासनिक कार्यालय के चक्कर लगाया गया है, अगर इस बार संबंधित व्यक्तियों के विरुद्ध कानूनी कार्यवाही नहीं की जाती है अन्यथा पीड़ित व्यक्तियों के ऊपर किसी भी प्रकार की अनहोनी या अपनी घटना घटित होती है तो इस घटना का जिम्मेदार आखिर कौन होगा..?
पीड़ित व्यक्तियों के द्वारा यह भी बताया गया है कि आरोपियों में से किसी एक आरोपी के सगे संबंधी पुलिस में भर्ती है और वह पुलिस विभाग में काम कर रहा है। जिससे कि आरोपियों के हौसले बुलंद है और किसी भी प्रकार की कोई कार्रवाई हरदी बाजार पुलिस के द्वारा नहीं की जा रही है। नाम प्रकाशित नहीं करने को लेकर एक व्यक्ति द्वारा बताया गया कि गांव में ही घूम रहे आरोपियों अन्य व्यक्तियों के द्वारा हाल ही में महिला को “टोनही” कहते हुए लाल मिर्च का पाउडर को पीड़ित महिला और उसके पति के आंखों में डालने का प्रयास किया गया है। इतना ही नहीं जमीन पर पड़े हुए पत्थर अन्यथा हथियारों, सामग्रियों से चोटिल करने की कोशिश की गई है। पीड़ित के द्वारा यह भी कहा गया है कि मुझे अकेले पाकर संबंधित आरोपी व्यक्तियों के द्वारा जान से मारने की साजिश बार-बार की गई है।
संबंधित व्यक्तियों के द्वारा गांव में ही रहने वाली महिला के साथ सामूहिक रूप से मारपीट करते हुए बार-बार टोनही शब्दों का प्रयोग कर प्रताड़ित किया जा रहा है। एक ओर भारत सरकार और छत्तीसगढ़ शासन के द्वारा नए-नए कानून बन जा रहे हैं महिलाओं के लिए तो दूसरी ओर कानून के रखवाले ही आरोपियों को ही संरक्षण देकर रखे हैं। ऐसे मामलों पर जिला कलेक्टर और पुलिस अधीक्षक को मामले का संज्ञान लेने की सख्त जरूरत है और दोषी व्यक्तियों के विरुद्ध तथा हरदीबाजार थाना प्रभारी और उनके स्टाफ के ऊपर उचित कार्यवाही करने की आवश्यकता है।