लिटियाखार : प्रवेशोत्सव की खुशी व बिदाई के मार्मिक क्षण का गवाह बना पखनापारा।
पाली (आई.बी.एन- 24) शिक्षक मान-सम्मान को ध्यान में रखकर जीते-जाते भगवान (बच्चों)की सेवा करते है।62 वर्ष त्याग, तपस्या ,और बलिदान की मूरत के रूप में कर्तव्य निर्वहन कर जब विदा होते हैं,तो स्कूल की दीवारें तक हिल जाती हैं,श्री एम.आर.कमल प्रधान पाठक,श्री एस.आर.महिपाल प्रधान पाठक, तथा श्री पी.एल.प्रजापति उच्च वर्ग शिक्षक का सम्मान/विदाई कार्यक्रम श्री डी एस ठाकुर सेवा निर्वित्त शिक्षक के आतिथ्य में आयोजन संकुल के समस्त शिक्षकों के सहयोग से श्री के.आर. लहरें सीएसी के द्वारा किया गया,विदाई में शामिल तीनों शिक्षकों की गौरव गाथा को एक माला की तरह पिरोते हुए मुख्य अतिथि के आसंदी से श्रीमती ज्योति टेकाम जनपद सदस्य ने अपने श्री मुख से कहा कि शिक्षकों की विदाई का पल बड़ा मार्मिक होता है।कहते हुए भावुक हो गई।
उनके दृगजल छलक पड़े। कुछ समय के लिए सभागार में सन्नाटा छा गया।श्री रंजन सिंह विधायक प्रतिनिधि तथा श्री छेदीलाल सोनी शाला प्रबंधन समिति के अध्यक्ष ने उद्बोधन के समय में काफी असहज दिखे, हों भी क्यों नहीं गुरु भगवान से बढ़कर होते हैं।उन्होंने अपने मन को कठोर कर तीनों शिक्षकों के दूसरी पारी के उज्जवल भविष्य की मंगल कामना करते हुए बधाई दिए। अभ्यागत अतिथियों के हस्त कमल से संकुल के शिक्षकों द्वारा ब्यवस्थित ट्राली बैग,शील्ड, मोमेंटो,शॉल तथा श्रीफल आदि से प्राथमिक/माध्यमिक शाला पखना पारा के महान मंच से आदर के साथ सम्मानित किया गया। तीनों शिक्षकों ने अपने जीवन के कड़े व सुहाने पल के अनुभव को सबके साथ साझा किया।बच्चों द्वारा शिक्षकों के सम्मान में सांस्कृतिक कार्यक्रम का मंचन श्रीमती संध्या चौबे के निर्देशन में संपन्न हुआ। इससे पहले माँ महाश्वेता के प्रतिमा पर माल्यार्पण कर वंदना,तथा राजकीय गीत हाव/भाव लय के साथ गाये गए।पश्चात नौनिहालों का प्रवेश उत्सव कार्यक्रम शुभारंभ किया गया। बच्चों के भाल पर तिलक चंदन,चावल, कुमकुम के तिलक,पुष्पमाला तथा दीप प्रज्वलित कर सबकी आरती उतारी गई,तथा बच्चों का मुंह मीठा अतिथियों के द्वारा करवाया गया।निःशुल्क गणवेश, पुस्तक,कापी का वितरण भी उपस्थित सदस्यों के द्वारा किया गया।दोनों कार्यक्रम का संचालन क्रमशः श्री पतिराम यादव तथा श्री विजय श्रीवास ने किया,तीनों शिक्षक संकुल लिटिया खार के चहेते, लगन-शील, समर्पित और कर्तव्य परायण रहे हैं,बच्चों ने अपने प्रिय शिक्षक की विदाई को विश्वास नही कर पा रहे थे। भोजन की उत्तम व्यवस्था श्री गोविंद श्रीवास,श्री पतिराम यादव के निर्देशन में श्रीमती मिथलेश उइके व श्रीमती रजनी टेकाम रसोइयों ने अमृत्तुल्य प्रसाद सबको ग्रहण कराया। कार्यक्रम को सफल अंजाम तक पहुचाने में श्री अमित झलरिया, श्री रघुलाल कोशले,श्री रमेश कंवर सरपंच,श्री सागर सिंह उइके उपसरपंच,श्री उदय शर्मा,श्री हरीश कमलेश श्री सुधीर सिंह,श्री मुरारी लाल जायसवाल,श्रीमती सुशीला कंवर,श्रीमती कौशिल्या राजवाड़े,श्री पंचराम आहिरे,श्री लक्ष्मण मरावी,श्री विष्णु कोरम,श्री लक्ष्मी प्रसाद खुसरो,श्रीमति नूरानी पटेल,श्री भावसिंह मरकाम,श्री विजय श्रीवास श्री डी एस तँवर, श्रीमती ठाकुर मेडम,श्री गोविंद श्रीवास,श्री शिवप्रसाद कुँवर,श्री पतिराम यादव,श्री के.आर.लहरे,श्रीमती संध्या चौबे,श्री अरविन्द मरकाम,श्रीमती संतबाई पंच,श्रीमती सुमित्रा बघेल श्रीमती रंजू देवी मरावी,श्रीमती प्रमिला चौहान श्रीमती चिनीबाई आदि के साथ पालक,व प्रबुद्धजन का आत्मीय सहयोग रहा।